Thursday, 11 June 2020

तुझे दिया सब कुछ हम ने और खुद से नाता तोड़ लिया...हो गए बेगाने अपने आप से और बस तुझे

समर्पित हो गए...डगर प्रेम की चुनी हम ने और राधा के माक़िफ़ बन गए...तू ही रामा तू ही शिव मेरा 

और कृष्ण समझ तुझी मे पूरा खो गए...सतयुग की महिमा यही बसी है...एक ही कृष्ण है इसी धरा पे

एक ही राधा पगली है...डगर चले ऐसी कुछ जो अनंत-काल तक जाती है...जिस्म छूट जाए बेशक यही

कही मगर रूहों को एक साथ ही इस जहां से जाना है...एक साथ ही जाना है...

दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का.... .....

 दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का,हम ने अपने लबो को सिल लिया...कुछ कहते नहीं अब इस ज़माने  से कि इन से कहने को अब बाकी रह क्या गया...नज़रे चु...