टुकर-टुकर ना देख मुझे,इतनी गहरी नज़र से डर लगता है..मेरी साँसों की रफ़्तार ना सुन,कसम से मर
जाए गे भय लगता है..मेरी उलझी जुल्फों को अपने हाथों से जो संवार दिया..कड़के गी बिजली और
बादल बरस जाए गे...कमर की इस करधनी को ना अलग कर मुझ से,जिस्म का यह तूफ़ान बहक जाए
गा...पास आने की कोशिश भी ना कर,दूर मुझ से कभी ना फिर जा पाए गा...इरादे नेक रख अपने,सौदा
प्यार मे कब होता है..यह मेरा हो कर ही जान पाए गा...
जाए गे भय लगता है..मेरी उलझी जुल्फों को अपने हाथों से जो संवार दिया..कड़के गी बिजली और
बादल बरस जाए गे...कमर की इस करधनी को ना अलग कर मुझ से,जिस्म का यह तूफ़ान बहक जाए
गा...पास आने की कोशिश भी ना कर,दूर मुझ से कभी ना फिर जा पाए गा...इरादे नेक रख अपने,सौदा
प्यार मे कब होता है..यह मेरा हो कर ही जान पाए गा...