Wednesday, 20 May 2020

जनून..जनून..जनून..यह जनून भी अजब शै है..किसी को आसमां मे उड़ने का जनून,किसी को किसी

को पा लेने का जनून...किसी को जनून रहा दौलत ढेर सारी हासिल करने का...कोई शोहरत पाने के

जनून मे दीवाना सा हो गया...किसी ने कभी यह सोचा भी ना होगा कि जनून से बड़ा जनून भी हो सकता

है...वल्लाह...आज कुदरत भी देखिए ना.....अपने जनून मे है..इस कदर जनून मे है कि इंसान के होश

उड़ा देने को बेहद जनून मे है..सोच ले इंसान कि अब तू किस जनून मे है...

दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का.... .....

 दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का,हम ने अपने लबो को सिल लिया...कुछ कहते नहीं अब इस ज़माने  से कि इन से कहने को अब बाकी रह क्या गया...नज़रे चु...