Thursday, 28 January 2016

तूफाॅ हजारो निकल गए जिनदगी मे मेरे-पर तेरी यादो ने दामन नही छोडा---वकत

जखम देता रहा,देता रहा-पर तेरी बातो से मैने जीना नही छोडा---होगी मुलाकात कब

तुम से,नही जानते---लेकिन सपनो मे तेरा आना जाना रोज ही देखा---हाथो की चूडिया

जब जब खनकती है रातो मे,तेरे होने का एहसास हम ने बार बार देखा---

दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का.... .....

 दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का,हम ने अपने लबो को सिल लिया...कुछ कहते नहीं अब इस ज़माने  से कि इन से कहने को अब बाकी रह क्या गया...नज़रे चु...