Sunday 10 August 2014

उसूूलो से बॅधे है..उसूलो को ना भूल पाए गे.सहारे माॅगे नही,अपना बोझ खुद ही उठा

जाए गे..जीवन देने का नाम है..सो दुआए बाॅटते जाए गे...नशतर जो चुभोए दुनिया ने

वो तो ना भूल पाए गे..पर अपने उसूूलो से जीवन अपना बिता जाए गे...पर एेसा कर

जाए गे कि हर किसी की इबादत मे बस जाए गे....

दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का.... .....

 दे कर रंग इन लबो को तेरे प्यार का,हम ने अपने लबो को सिल लिया...कुछ कहते नहीं अब इस ज़माने  से कि इन से कहने को अब बाकी रह क्या गया...नज़रे चु...